मैंने उसको सलाम लिख भेजा,
हाले दिल तमाम लिख भेजा !!
मैंने पूछा तेरे होठ कैसे हैं,
उसने सिर्फ जाम लिख भेजा !!
मैंने पूछा तेरे बाल कैसे हैं,
उसने कुदरत का कमाल लिख भेजा !!
मैंने पूछा कब होगी मुलाकात,
उसने क़यामत की शाम लिख भेजा !!
मैंने पूछा इतना तडपती क्यों हो,
उसने जवानी का इंतकाम लिख भेजा !!
पूछा किसी से नफरत भी है क्या,
तो जालिम ने मेरा हे नाम लिख भेजा !!!!!!!!!!
Saturday, March 27, 2010
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